Time bomb :- यह एक ऐसा वायरस है जो एक निश्चित समय तक , जो की इसे
programmed करते समय इसमें डाला जाता है तब तक यह inactive रहता है तथा
उसके उपरांत active ( सक्रिय ) हो जाता है तथा users की Hard drive से बहुत
से data को delete कर देता है।
Logical bomb :- यह बम अपने नाम की तरह ही computers को ill- logical बना देता है। यह virus विशेष परिस्थितियों में सक्रिय होता है जैसे आप pen drive को format करना चाहते हैं लेकिन computer कि कोई hard drive format हो जाती है।
boot-sector virus :- इस प्रकार के वायरस किसी डिस्क के बूट सेक्टर में संग्रहित होते है। जब हम कंप्यूटर को ऑन करते है तब यह ऑपरेटिंग सिस्टम में लोड होकर इसके कार्य में बाधा डालते है।
partition table virus :- इस प्रकार के वायरस हार्ड डिस्क के विभाजन तालिका (partition table) को नुकसान पहुंचाता है।
file virus :- इस प्रकार के वायरस क्रियान्वन योग्य फाइलों के साथ अपने आप को सम्मलित कर लेता है और जब यह फाइल क्रियान्वित या एक्ससिक्युट होते है तब यह उसके साथ क्रियान्वित होकर कंप्यूटर प्रणाली को प्रभावित करते है।
stealth virus :- यह वायरस अपने आप को कंप्यूटर में छिपा कर रखने का प्रयास करता है।
polymorphic virus ;- यह वायरस अपने आप को बार-बार बदलने की क्षमता रखते है ताकि पहले से अलग तरीके से संक्रमण फैला सके।ऐसे वायरस को पकड़ पाना अत्यन्त कठिन होता है।
partition table virus :- यह वायरस कुछ विशेष प्रकार की फाइलों को जैसे–स्प्रेडशीट, डॉक्यूमेंट,इत्यादि को नुकसान पहुचाते है।
Logical bomb :- यह बम अपने नाम की तरह ही computers को ill- logical बना देता है। यह virus विशेष परिस्थितियों में सक्रिय होता है जैसे आप pen drive को format करना चाहते हैं लेकिन computer कि कोई hard drive format हो जाती है।
boot-sector virus :- इस प्रकार के वायरस किसी डिस्क के बूट सेक्टर में संग्रहित होते है। जब हम कंप्यूटर को ऑन करते है तब यह ऑपरेटिंग सिस्टम में लोड होकर इसके कार्य में बाधा डालते है।
partition table virus :- इस प्रकार के वायरस हार्ड डिस्क के विभाजन तालिका (partition table) को नुकसान पहुंचाता है।
file virus :- इस प्रकार के वायरस क्रियान्वन योग्य फाइलों के साथ अपने आप को सम्मलित कर लेता है और जब यह फाइल क्रियान्वित या एक्ससिक्युट होते है तब यह उसके साथ क्रियान्वित होकर कंप्यूटर प्रणाली को प्रभावित करते है।
stealth virus :- यह वायरस अपने आप को कंप्यूटर में छिपा कर रखने का प्रयास करता है।
polymorphic virus ;- यह वायरस अपने आप को बार-बार बदलने की क्षमता रखते है ताकि पहले से अलग तरीके से संक्रमण फैला सके।ऐसे वायरस को पकड़ पाना अत्यन्त कठिन होता है।
partition table virus :- यह वायरस कुछ विशेष प्रकार की फाइलों को जैसे–स्प्रेडशीट, डॉक्यूमेंट,इत्यादि को नुकसान पहुचाते है।
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